नोकिया का नाम सुनते ही आपको अपने पहले मोबाइल फोन की याद अवश्य आ जाती होगी क्योंकि उस समय तीन ही कंपनियों के फोन मुख्यत: आते थे। उनमें से एक नोकिया, दूसरा मोटरोला और तीसरा पैनासोनिक। जिस तरीके से आज पुलिस वाले हाथ में या कमर की बेल्ट में फोन लटकाये दिख जाते हैं नोकिया का पहला उसी तरह का आया था। लोग हाथ में लेकर बडे शान से बात करके लोगों को यह दिखाते थे कि उनके पास मोबाइल फोन है क्योंकि उस समय मोबाइल फोन को स्टेटस सिंबल माना जाता था। उस समय के वही फोन इतने महंगे होते थे कि मीडियम क्लास के लोग भी नहीं ले पाते थे।
पहला लोकप्रिय मोबाइल फोन Nokia का ही था
लैंडलाइन फोन के बाद पहला मोबाइल फोन नोकिया का ही फोन था। उस समय उसकी बॉडी और सॉफ्टवेयर बहुत अधिक मजबूत होते थे। दूकानदार से फोन खरीदते समय आपने धोखे से मजबूती के बारे में पूछ लिया तो वही कहता था कि ये नोकिया का फोन है, इसे पहले तीन मंजिल की ऊपर से नीचे फेंको और बॉडी और बैटरी अलग-अलग हो जायेगी । सभी को एक बार हिसाब से सेट कर लो और चलाओ। फिर चले तब हमारे पास ये फोन खरीदने आना। इतना दमदार फोन था। कुछ पुराने लोगों के पास तो आज भी वो फोन चल रहे होंगे।
कैसे, कब और कहां हुआ Nokia कंपनी का जन्म
नोकिया के मोबाइल फोन की याद आज भी लोगों को आती है। नोकिया के प्रशंसकों को आज भी यह इच्छा होगी कि जिस तरह से सैमसंग, एप्पल से लेकर चाइनीज कंपनियों जैसे वीवो, रियलमी, रेडमी, ओप्पो सहित अनेक कंपनियों के एंड्रायड एवं स्मार्ट आते हैं उसी तरह के नोकिया के फोन भी मार्केट में अयें और वे खरीद कर अपनी मुराद पूरी कर लें लेकिन नोकिया के स्मार्ट फोन पहले तो आये ही नहीं और जो आये भी वो लोगों को पसंद ही नहीं आये। नोकिया के मोबाइल फोन के मार्केट में और अब उसके मार्केट से बाहर होने के कहानी तो लोगों को मालूम होगी लेकिन यह कहानी कुछ ही लोगों को मालूम होगी कि मोबाइल फोन कंपनी बनाने वाले नोकिया कंपनी का जन्म कैसे और कब हुआ। यह कंपनी कहां पर किसने शुरू की और नोकिया नाम की भी कहानी क्या है। आइये इस बारे में विस्तार से जानते हैं।
157 साल पहले हुई थी Nokia कंपनी की स्थापना
नोकिया कंपनी सफर आज से लगभग 157 साल पहले शुरू ही हुआ था। जब फिनलैंड के एक व्यापारी फ्रेडरिक आइडस्टीम ने 12 मई 1865 को नोकिया नाम से एक मिल का शुभारंभ किया था। यह मिल उस समय पेपर यानी कागज बनाने का काम करती थी। शुरू में यह कंपनी बहुत अच्छी तरीके से चली। लेकिन फे्रडरिक आइडस्टीम को तरक्की करना पसंद था और वो उसी धुन में लगे रहे। आखिर एक दशक के बाद में उन्होंने अपने बिजनेस के विस्तार का फैसला किया। इसके लिए उन्होंने अपने पार्टनर तलाशे और काम को आगे बढ़ाया।
12 साल बाद कंपनी का हुआ था विस्तार
12 साल तक यह कारखाना पेपर मिल के रूप में चलता रहा। इसके बाद 1877 में फ्रेडरिक आइडस्टीम ने अपने दो साथियों के साथ तालमेल किया। ये दो साथी थे लिये मेकेलिन और एडुअर्ड पोलोन। उस समय इस कंपनी का नाम नोकिया एबी रखा गया।
इसलिये रखा गया कंपनी का नाम Nokia
इस कंपनी का नाम नोकिया क्यों रखा गया? इसकी भी एक रोचक कहानी है। फिनलैंड में जहां पर नोकिया की शुरुआत हुई थी, वहां पर एक नदी बहती है,उसका नाम नोकिया है और उसी के तट पर बसे एक कस्बे का नाम भी नोकिया है। उस समय लोगों की जुबान पर नोकिया ही रहता था इसलिये वहां के व्यापारी ने स्थानीय नाम के आधार पर इस कंपनी का नाम नोकिया रख दिया और तब से यह कंपनी आज तक नोकिया के नाम से जानी जाती है।
1922 में इलेक्ट्रॉनिक क्षेत्र में रखा कदम
1922 में नोकिया कंपनी में फिनिश रबर वर्क्स, फिनिश केबल वर्क्स का काम होता था। इस तरह से नोकिया कंपनी ने इलेक्ट्रानिक व केबिल के क्षेत्र में पहला कदम रखा था। उसके बाद कंपनी धीरे-धीरे अपने कदम बढ़ाती रही। इस तरह कंपनी का धीरे-धीरे लेकिन विश्व स्तर पर विस्तार होता रहा।
1967 में बना Nokia कारपोरेशन
1967 में नोकिया कंपनी में शामिल तीनों कंपनियों का विलय किया गया और उस समय इसको नोकिया कारपोरेशन के रूप में स्थापित किया गया। उस समय यह कंपनी चार क्षेत्र में काम कर रही थी। इसमें से पहला वन से संबंधी काम यानी फॉरेस्ट्री, दूसरा केबिल से जुड़ा काम, तीसरा रबड़ से जुड़ा काम और चौथा इलेक्ट्रॉनिक काम। ये चारों काम करने के बाद भी कंपनी के विस्तार का काम नहीं रुका।
Nokia ने किया फिनलैंण्ड सेना के लिए काम
नोकिया कंपनी ने 1970 में नेटवर्किंग और रेडियो इंडस्ट्रीज में भी एंट्री की। उस समय यह कंपनी फिनलैण्ड की सेना के लिए रेडियो सेट और उनके उपकरण बनानेका काम करती थी।
1. ये रहा टर्निंग पीरियड
नोकिया के लिए 1980-1990 का दशक सबसे महत्वपूर्ण रहा अथवा हम इसे कंपनी सफर का टर्निंग पीरियड भी कह सकते हैं। 1980 से 1990 तक कंपनी ने तीन बड़ी कंपनियों का अधिग्रहण किया यानी अपने कब्जे में लिया और उनके कारोबार से अपने बिजनेस को टॉप पर पहुंचाया।
2. मोबाइल कंपनी का 1982 में ही कर लिया अधिग्रहण
नोकिया ने 1982 में मोबाइल फोन बनाने वाली कंपनी मोबिरा को एक्वायर किया। लेकिन यह कंपनी उस समय इतनी अधिक एक्टिव नहीं हो पायी कि उसके काम से नोकिया के नाम को जाना जाता। लेकिन इस कंपनी में मोबाइल बनाने का प्रॉसेस धीरे-धीरे चलता रहा। 1984 में नोकिया ने टीवी बनाने वाले कंपनी सलोरा का अधिग्रहण कर लिया। इसी तरह नोकिया कंपनी ने कम्प्यूटर बनाने वाली कंपनी लक्जर एबी को भी 1985 में एक्वायर किया। इसके बाद कंपनी ने टेलीविजन सेट और मिनी कम्प्यूटर बनाने का काम शुरू किया।
3. वायरलैस फोन की तरह था पहला मोबाइल फोन
नोकिया ने पहला मोबाइल फोन लांच मोबिरा सीनेटर नाम से लांच किया था। यह फोन लैंडलाइन फोन की तरह था लेकिन यह वायरलैस था। एक बक्सेनुमा पेटी से अटैच रिसीवर को आप घर के किसी भी कोने में ले जा कर किसी से भी बात कर सकते थे।
4. मोबिना सिटीमैन पहला मोबाइल फोन था
इसके बाद नोकिया कंपनी ने 1987 में पहला मोबाइल फोन मोबिना सिटी मैन के नाम से लांच किया था।
5. जीएसएम नेटवर्क का भी काम शुरू किया
1990 में नोकिया कंपनी ने सीमेन्स कंपनी से तालमेल करके पहला जीएसएम नेटवर्क स्थापित किया था। उस समय फिनलैंड के प्रधानमंत्री हैरी होलकेरी ने 1 जुलाई, 1991 को पहली कॉल करके इसका उद्घाटन किया था।
6. इस तरह से मोबाइल फोन का किया कमर्शियल प्रोडक्शन
इसके बाद नोकिया ने कमर्शियल मोबाइल फोन इंडस्ट्री कदम रखा। पहला कमर्शियल फोन नोकिया 1011 नाम से आया और पूरे मार्केट में छा गया। उसके बाद 2003 में मोबाइल का सबसे अधिक बिकने वाला सेट नोकिया 1100 मोबाइल फोन आया। इसके बाद नोकिया का पूरे विश्व में नाम हो गया। नोकिया कंपनी इतनी अधिक तरक्की की कि 1998 में इस कंपनी ने उस समय स्थापित मोटरोला कंपनी को पछाड कर विश्व में नंबर वन मोबाइल उत्पादक कंपनी बन गयी।
7. पहला कैमरा वाला फोन
नोकिया कंपनी उस समय सफलता के शिखर पर थी। उस समय कंपनी ने एडवांस टेक्नोलॉजी से लैस कैमरा वाला पहला फोन पेश किया था। उस समय यह पहला फोन था जिसके साथ टार्च भी आती थी और उसके ऐड टीवी पर देखने को मिलते थे। इसके बाद कैमरे के साथ नोकिया 7650 और नोकिया एन सीरीज मार्केट में आकर छा गयी।
नोेकिया ने 2006 में 12 मेगापिक्सल वाले कैमरा से लैस नोकिया एन-95 फोन पेश किया था। जिसकी मार्केट में भारी डिमांड थी। उस समय यह फोन सबसे महंगा फोन माना जाता था।
8. दुनिया में दबदबा रहा फिनलैंड की कंपनी का
ये तो मालूम हो गया कि नोकिया फिनलैंड की कंपनी है। इसका मुख्यालय फिनलैंड के एस्पून शहर में है। नोकिया भी अन्य कंपनियों की तरह मल्टीनेशनल मोबाइल फोन उत्पादक कंपनी है। नोकिया का बिजनेस लगभग 130 देशों में फैला है। इस कंपनी के कर्मचारियों की संख्या एक लाख के आसपास है। भारत में नोकिया का मेन ऑफिस गुड़गांव यानी गुरुग्राम में है। इसके अलावा भारत में लगभग प्रत्येक शहर में कस्टमर केयर सेंटर हैं, जहां से ग्राहकों को फोन संंबंधी शिकायतों को दूर किया जाता है।
9. न्यूयार्क स्टॉक एक्सचेंज मे लिस्टेड है कंपनी
नोकिया कंपनी विश्व की स्थापित कंपनियों में से एक है। इस कंपनी की साख इस बात से पता चलती है कि कंपनी न्यूयार्क स्टाक एक्सचेंज और हेलसिंकी स्टॉक एक्सचेंज में आज भी सूचीबद्ध यानी लिस्टेड है।
Nokia कंपनी के अब मालिक कौन है
नोकिया के वर्तमान मालिक, संचालक अथवा सीईओ पेक्का लुंडमार्क हैं, जिन्होंने अभी अगस्त 2020 में ही अपना पदभार संभाला है। इससे पहले नोकिया के सीईओ भारतीय मूल के राजीव सूरी थे।
100 से अधिक देशों की मोबाइल मार्केट पर 20 साल तक रहा कब्जा
मोबाइल क्रांति के समय सबसे अधिक मोबाइल फोन बेचने वाली कंपनी नोकिया ने पूरे विश्व के लगभग 100 देशों के मार्केट पर लगभग 15 से 20 साल तक कब्जा बनाये रखा और उसके बाद जब सैमसंग और एप्पल कंपनी ने अपने एंड्रायड फोन लांच किये। उसके बाद से नोकिया कंपनी के फोन से अधिक इन दोनों कंपनियों के मोबाइल फोन पसंद किये जाने लगे। नोकिया कंपनी ने इसके बाद कई बार स्मार्ट फोन लाने के भी प्रयास किये लेकिन उसका कोई खास असर नहीं हुआ। इसके बाद से नोकिया कंपनी ने अपना कार्य क्षेत्र बदल दिया।
अब स्मार्ट फोन नहीं बनाती Nokia कंपनी
नोकिया कंपनी ने 2014 में अपने मोबाइल फोन के बिजनेस को माइक्रोसॉफ्ट को बेच दिया और उसके बाद माइक्रोसॉफ्ट ने इसे माइक्रोसॉफ्ट मोबाइल नाम दे दिया है। नोकिया कंपनी अब नोकिया नेटवर्क का कार्य कर रही है। अब दुनिया भर में 5जी डाटा नेटवर्क उपलब्ध कराने का काम कर रही है। यदि इंटरनेशनल रिकार्ड की बात मानी जाये तो 2017 में प्रकाशित आंकड़ों के अनुसार नोकिया आज भी टेलीकाम के क्षेत्र की तीसरी सबसे बड़ी कंपनी है।
Nokia कंपनी के बारे में कुछ खास बातें
- नोकिया कंपनी फिनलैण्ड की सेना के लिए रेडियो से व उपकरण बनाती थी।
- नोकिया कंपनी ने 1982 में पहला कार फोन ईजाद किया था।
- 1978 में नोकिया ने मिक्कू 3 नाम से मिनी कंप्यूटर बाजार में उतारा था।
- नोकिया ने 1982 से 2014 तक मोबाइल उत्पादन का कार्य किया।
- नोकिया कंपनी का 100 मुख्य देशों की मोबाइल फोन मार्केट सहित 130 देशों में कारोबार फैला था।
- नोकिया कंपनी के अपने स्वयं के 95 हजार से अधिक कर्मचारी/ अधिकारी थे।
- नोकिया कंपनी ने अपना काम बदला है लेकिन उसके काम का स्तर आज भी वही है। आज जो मोबाइल फोन में डेटा सर्विस के लिए 5 जी डेटा मिल रहा है, उसे नोकिया कंपनी ही उपलब्ध करा रही है।
- नोकिया कंपनी आज भी विश्व की तीसरी सबसे बडी टेलीकॉम सर्विस मुहैया कराने वाली कंपनी है।
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अक्सर पूछे जाने वाले सवाल (FAQs)
प्रश्न. नोकिया कंपनी ने मोबाइल कंपनी का कब अधिग्रहण किया था?
उत्तर. नोकिया कंपनी ने मोबाइल कंपनी मोबिरा का 1982 में अधिग्रहण किया था।
प्रश्न. अब नोकिया स्मार्ट फोन क्यों नहीं बनाती है? क्या कंपनी ने अपना नाम बदल लिया है?
उत्तर. नोकिया ने स्वयं स्मार्ट फोन बनाना बंद कर दिया है क्योंकि कंपनी ने मोबाइल बनाने का काम माइक्रोसॉफ्ट के हाथों बेच दिया है। अब जो माइक्रोसॉफ्ट मोबाइल के नाम से फोन आते हैं वे नोकिया की कंपनी के आते हैं।
प्रश्न. अभी जो फोन मार्केट में नोकिया के दिखते हैं वे क्या नकली हैं?
उत्तर. नहीं नकली नहीं हैं, वे भी असली हैं लेकिन वे उस समय के हैं जब नोकिया की कंपनी अस्तित्व में थी। अब कोई नया फोन नोकिया के नाम नहीं आ पा रहा है।
प्रश्न. नोकिया को काम बदलने के बाद क्या लाभ मिल रहा होगा?
उत्तर. नोकिया ने मोबइल फोन का उत्पादन बंद करके डेटा सप्लाई का काम पकड़ा है, वो भी कोई कम नहीं है, आज हमारे मोबाइल में जो 5 जी का डेटा आ रहा है उसे नोकिया कंपनी ही दे रही है।